सीमाओं से सशक्तिकरण तक: विकसित वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम 15 मई से शुरू, देशभर के 500 युवा स्वयंसेवक लेंगे भाग
अनिवार्य प्रश्न। संवाद।
नई दिल्ली I भारत सरकार द्वारा सीमावर्ती क्षेत्रों के समग्र विकास और युवाओं की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित करने के उद्देश्य से “विकसित वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम” का आयोजन 15 से 30 मई 2025 तक किया जाएगा। इस कार्यक्रम के लिए पंजीकरण की प्रक्रिया आज माई भारत पोर्टल पर औपचारिक रूप से शुरू हो गई है।
युवा कार्यक्रम और खेल मंत्रालय के नेतृत्व में तथा गृह मंत्रालय के समन्वय में शुरू की गई इस संयुक्त पहल का उद्देश्य लद्दाख, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के 100 चयनित सीमावर्ती गांवों में सामाजिक, सांस्कृतिक और रणनीतिक विकास को बढ़ावा देना है। इस कार्यक्रम में देशभर से चुने गए 500 माई भारत युवा स्वयंसेवक जमीनी स्तर पर स्थानीय समुदायों के साथ मिलकर कार्य करेंगे।
कार्यक्रम का फोकस केवल भौगोलिक पहुंच बढ़ाने तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि यह सीमावर्ती गांवों की सांस्कृतिक समृद्धि, सामाजिक संरचना और युवाओं की नेतृत्व क्षमता को नए सिरे से परिभाषित करेगा। स्वयंसेवकों द्वारा शिक्षा, स्वास्थ्य, कौशल विकास, पर्यावरण संरक्षण, सांस्कृतिक संरक्षण और नेतृत्व निर्माण जैसी विविध गतिविधियों को अंजाम दिया जाएगा। हर दिन एक विशिष्ट विषय पर केंद्रित गतिविधियाँ आयोजित की जाएंगी, जिनमें ओपन माइक, निबंध लेखन, योग, ध्यान और कैरियर परामर्श जैसे कार्यक्रम शामिल होंगे।
कार्यक्रम की शुरुआत से पहले, सभी चयनित स्वयंसेवकों के लिए दिल्ली में एक अभिविन्यास कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा, जिसमें उन्हें सीमावर्ती क्षेत्रों की सामाजिक-सांस्कृतिक पृष्ठभूमि, स्थानीय प्रशासनिक व्यवस्था और नेतृत्व कौशल से संबंधित प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसका उद्देश्य स्वयंसेवकों को प्रभावी सामुदायिक भागीदारी के लिए तैयार करना है।
यह पहल सीमावर्ती गांवों को “मानचित्र के आखिरी गांव” की धारणा से निकालकर उन्हें “विकसित भारत” की अग्रिम पंक्ति में लाने की दिशा में एक क्रांतिकारी कदम मानी जा रही है। स्थानीय भाषाओं, कलाओं, वास्तुकला और सांस्कृतिक विरासत को उजागर कर ये गांव राष्ट्रीय गौरव के प्रतीक बनेंगे।
इस पहल के माध्यम से भारत के युवा नागरिकों को न केवल देश के सीमावर्ती समुदायों के करीब आने का अवसर मिलेगा, बल्कि वे उनके विकास में सक्रिय भूमिका भी निभाएंगे। यह कार्यक्रम युवाओं को राष्ट्र निर्माण की प्रक्रिया में भागीदार बनाते हुए उन्हें नेतृत्व, सेवा और नवाचार के पथ पर अग्रसर करेगा।
विकसित वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम केवल एक सरकारी योजना नहीं, बल्कि एक पीढ़ीगत आंदोलन है, जो भारत के हर कोने में विकास, पहचान और सम्मान सुनिश्चित करने के लिए युवाओं को आगे लाने की दिशा में एक ऐतिहासिक पहल बनकर उभर रहा है।