जल्द पूरा होगा अटल सुरंग का निर्माण
अनिवार्य प्रश्न । संवाद
सुरंग पूरे वर्ष मनाली को लाहौल घाटी से जोड़ेगी
46 किलोमीटर तक कम कर देगी मनाली-रोहतांग दर्रा सरचु-लेह मार्ग की सड़क लंबाई
शेष भारत से सुरंग के जरिये लाहौल के लोगों को जुड़ जाएंगे
सुरंग सुरक्षा बलों को कनेक्टिविटी के लाभ प्राप्त करने में करेगी सहायता
दिल्ली। लॉकडाउन का अच्छा उपयोग करते हुए अटल सुरंग के निर्माण काम में बीआरओ डटा रहा है, इसे सितंबर 2020 तक पूरा भी कर लिए जाने की योजना है।
रक्षा मंत्रालय के सूत्रों ने बताया गया है कि सीमा सड़क संगठन द्वारा हिमाचल प्रदेश की पीर पंजाल श्रृंखला में रणनीतिक अटल सुरंग पर काम, जोकि निर्माण के महत्वपूर्ण चरण में है, को पूरा करने के लिए सक्रिय कदम उठाये जा रहे हैं।
सड़क सतह कार्यों, लाइटिंग सहित इलेक्ट्रो-मेकैनिक फिटिंग्स, वेंटिलेशन एवं इंटेलीजेंट ट्रैफिक कंट्रोल प्रणालियों का निष्पादन तेजी से किया जा रहा है। सुरंग के उत्तरी पोर्टल पर चंद्रा नदी पर 100 मीटर लंबा एक स्टील सुपर स्ट्रक्चर पुल का कार्य भी निर्माणाधीन है। कोविड-19 महामारी प्रकोप के कारण 10 दिनों के लिए कार्य रोक दिया गया था।
बॉर्डर रोड्स के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल हरपाल सिंह ने हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर के समक्ष मामले को उठाया था। इसका परिणाम राज्य सरकार के सक्रिय समन्वयन में साइट पर श्रम के साथ 05 अप्रैल, 2020 को काम फिर शुरु हो गया। अटल सुरंग में कार्य कोविड-19 की सभी आवश्यक सावधानियां बरतते हुए निष्पादित किए जा रहे हैं जिससे कि योजनानुसार सितंबर 2020 में इसकी पूर्णता सुनिश्चित की जा सके।
अटल सुरंग का निर्माण इसलिए किया जा रहा है क्योंकि नवंबर और मई के बीच पूर्ण रूप से बर्फ से ढके रहने के कारण मनाली-सरचु-लेह मार्ग प्रत्येक वर्ष छह महीनों के लिए बंद रहता है। यह सुरंग पूरे वर्ष मनाली को लाहौल घाटी से जोड़ेगी और मनाली-रोहतांग दर्रा सरचु-लेह मार्ग की सड़क लंबाई को 46 किलोमीटर तक कम कर देगी। सुरंग के जरिये लाहौल के लोगों को शेष भारत से जोड़ने के अतिरिक्त, यह सुरंग सुरक्षा बलों को आगे की कनेक्टिविटी के लिए एक प्रमुख रणनीतिक लाभ प्राप्त करने में सहायता करेगी।