Library is an essential need of the society K.S. Parihar

पुस्तकालय समाज की अनिवार्य आवश्यकता है : के0 एस0 परिहार


अनिवार्य प्रश्न। ब्यूरो संवाद।


वाराणसी। राजकीय जिला पुस्तकालय के सभागार में पुस्तकालय विज्ञान के जनक डॉ0 एस0 आर0 रंगनाथन के जन्म दिवस के अवसर पर संबोधित करते हुए राजकीय जिला पुस्तकालय के पुस्तकालयाध्यक्ष के. एस. परिहार ने कहा कि ज्ञान के वर्तमान युग में सार्वजनिक पुस्तकालय ही आम नागरिकों के लिए ज्ञान केंद्र के रूप में कार्य करते हैं जिसमे समाज का प्रत्येक नागरिक जाकर अपनी ज्ञान पिपासा को तृप्त कर सकता है। सार्वजनिक पुस्तकालय ही हमारी संस्कृति, जीवन दर्शन, सोच तथा नैतिक मूल्यों को पीढ़ी दर पीढ़ी संस्कारवान बनाने एवं मानवीय मूल्यों परंपराओं को संरक्षित करने के लिए कार्य करते है।
पुस्तकालयाध्यक्ष दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में सर्वप्रथम डॉ0 एस.आर. रंगनाथन के चित्र पर अतिथियों ने माल्यार्पण एवम दीप प्रज्वलन किया।

पुस्तकालय संगठन के महासचिव दीपक कुमार आर्य ने पुस्तकालय अध्यक्ष दिवस के अवसर पर बोलते हुए कहा कि आदर्श और विकसित समाज के निर्माण के लिए सार्वजनिक पुस्तकालयों जरूरत है तथा सार्वजनिक पुस्तकालय संरचना इस तरह निर्मित किया जाए जिससे समाज का प्रत्येक व्यक्ति पुस्तकालय सेवा से लाभान्वित हो सके एवम पुस्तकालय आकर ज्ञान के विविध आयाम से परिचित भी हो सके ।
पुस्तकालय विशेषज्ञ सुनील कुमार ने कहा कि पब्लिक लाईब्रेरी अब उपेक्षित की जा रही है। वाराणसी जैसे प्राचीन और सांस्कृतिक विरासत के शहर में भी एक आदर्श पब्लिक लाईब्रेरी नहीं है। स्मार्ट सिटी के विकास करते समय भी पब्लिक लाईब्रेरी के विकास पर ध्यान नहीं दिया गया।

आज प्रदेश के बहुत से जिला पुस्तकालय एवं प्रशिक्षण संस्थानो में पुस्तकालय अध्यक्ष के पद रिक्त हैं उन्हें शासन एवं विभाग द्वारा नहीं भरा जा रहा है। प्रदेश में सार्वजनिक पुस्तकालय अधिनियम 2006 में पारित होने के बाद भी अभी तक राज्य स्तर से ग्रामीण स्तर तक पुस्तकालय सरंचना विकसित नहीं की गई। उन्होंने कहा कि यदि पब्लिक लाईब्रेरी का विकास ग्रामीण क्षेत्र में भी कर दिया जाए तो वहा रहने वाले युवा एवं बच्चे उसका लाभ प्राप्त कर ज्ञान की मुख्य धारा से जुड़ सकते है। पुस्तकालय एवं सूचना विज्ञान डिप्लोमा वेलफेयर एसोसिएशन उत्तर प्रदेश के प्रतिनिधियों ने डॉ0 एस0 आर0 रंगनाथन द्वारा पुस्तकालय क्षेत्र में किए गए कार्यों एवं जीवन दर्शन पर प्रकाश डाला एवं पुस्तकालय सेवाओं के विकास के लिए डिग्री एवं डिप्लोमा किए हुए बेरोजगारों को पुस्तकालय क्षेत्र में रोजगार देने के लिए राज्य सरकार से अनुरोध भी किया। एसोसिएशन के महासचिव ने सबको धन्यवाद दिया!